पटना (बिहार) : 7 जून को भोजपुरी सिनेमा की बेहतरीन अदाकारा, हुश्न की मल्लिका और भोजपुरी इंडस्ट्री में हेमा मालिनी कही जाने वाली पाखी हेगड़े का जन्मोत्सव है। अनलॉक वन में हमने मुंबई में रह रही पाखी हेगड़े से लंबी बातचीत की। सबसे पहले हमने पाखी को उनके जन्मदिन की असीमित बधाई दी और फिर बातचीत के सिलसिले को आगे बढ़ाया। पाखी भोजपुरी फिल्मों और टीवी की एक मशहूर अभिनेत्री हैं । कई भाषाओं में, मसलन हिन्दी, मराठी, पंजाबी, गुजराती, तेलुगू फिल्मों में अपनी उपस्थिति दर्ज करा चुकीं, पाखी भोजपुरी भाषा की सफलतम और बेहतरीन अभिनेत्रियों में गिनी जाती हैं। उनको भोजपुरी सिनेमा अवॉर्ड, भोजपुरी सिटी अवॉर्ड सहित कई पुरस्कार और सम्मान प्राप्त हुए हैं।
पाखी हेगड़े का जन्म 7 जून 1985 को मुंबई के उपनगर बोरीवली के निकट वसई क्षेत्र में हुआ था। पाखी बचपन से ही नटखट थी। सौंदर्य की अतिशय पराकाष्ठा और प्रतिभा से परिपूर्ण पाखी ने अपना कैरियर अभिनय की दुनिया में बनाना चाहा और वह दूरदर्शन की सीरियल ‘मैं बनूंगी मिस इंडिया’ से अभिनेत्री भी बन गई। ‘कन्नडिया गर्ल’ टीवी सीरिज के पश्चात पाखी हेगड़े भोजपुरी फिल्मों की तरफ मुड़ गईं। कैमरामैन ज्ञान सहाय ने जब निर्देशक बनने का निर्णय लिया तभी उनकी नजर पाखी पर पड़ी। ज्ञान सहाय की पारखी नजरों ने पाखी को परख लिया और वह बन गई एक खूबसूरत भोजपुरी प्रेम कहानी ‘बैरी पिया’ की नायिका। नायक के रूप में, इस फिल्म में पाखी के साथ मोहित डागा नजर आए। निर्देशक, नायक और नायिका तीनों की यह पहली फिल्म थी। फिल्म अच्छी होने के बावजूद, बॉक्स ऑफिस पर, कुछ कमाल नहीं दिखा पाई। लेकिन धीरे-धीरे पाखी की चल निकली। वह निर्माता, निर्देशकों की आंखों में जा बसीं और बन गईं भोजपुरी फिल्मों की सर्वप्रिय नायिका । पाखी तो सचमुच पाखी (पंछी) बन गई। भोजपुरी की पहली फिल्म के बाद ही पाखी के पर निकल आए और उसके बाद वह ऊंची उड़ानें भरने लगीं। भोजपुरी फिल्मों के सुपरस्टार कहे जाने वाले मनोज तिवारी की नायिका बनने का सुअवसर, उन्हें तुंरत मिल गया। पाखी ने ‘भईया हमार दयावान’, ‘गंगा जमुना सरस्वती’, ‘परमवीर ‘परशुराम’ जैसी कई भोजपुरी फिल्मों में काम किया। उसके बाद उन्हें निरहुआ के नाम से लोकप्रिय दिनेशलाल यादव के साथ काम करने का मौका मिला। यह इतना सफल हुआ कि पाखी हेगड़े और दिनेशलाल ने लगभग दो दर्जन फिल्मों में साथ-साथ काम किये। दौर वह आ गया कि हुश्न की जादूगरनी और मल्लिका पाखी हेगड़े को भोजपुरी फिल्मों की हेमा मालिनी कहा जाने लगा।
पाखी ने निरहुआ के साथ जिन फिल्में फिल्मों में काम किये, उनमें ‘निरहुआ रिक्शावाला’, ‘निरहुआ चलल ससुराल’, ‘निरहुआ मेल’, ‘निरहुआ नं.1’, ‘दीवाना’, ‘प्रतिज्ञा’, ‘दाग’, ‘दल’, ‘विधाता’, ‘परिवार’, ‘लोफर’, ‘औलाद’, ‘प्रेम के रोग भईल’, ‘खून पसीना’, ‘जानी दुश्मन’, ‘दुश्मनी’, ‘सात सहेलियां’, ‘हंटरवाली’, ‘आज के करन अर्जुन’, ‘हमरा माटी में दम बा’, ‘कईसे कहीं कि तोहरा से प्यार हो गईल’, ‘आखरी रास्ता’ आदि बॉक्स ऑफिस पर सुपर-डुपर हिट साबित हुई। पाखी ने पवन सिंह के साथ ‘प्यार मोहब्बत ज़िन्दाबाद’, ‘पवन पुरवईया’, ‘देवर भाभी’ में काम किये। साढ़े पांच फीट की अतिशय गौरवर्णी इस सुंदरी को बिग बी (अमिताभ बच्चन) के साथ भी काम करने का सौभाग्य प्राप्त है। ‘गंगादेवी’ नामक इस हिन्दी फिल्म को अंग्रेजी में ‘लीडर’ और गुजराती में ‘नाम छे मारु गंगा’ शीर्षक से रिलीज हुई थी। पाखी की दूसरी चर्चित हिन्दी फिल्म थी ‘ओमन फ्रॉम द ईस्ट’, जिसके लिए उनको कई अवॉर्ड भी मिले। तेलुगू फिल्म ‘बंगारदा कुराल’ के लिए भी कई अवॉर्ड मिले। सचिन खेड़ेकर, महेश मांजरेकर व सयाजी शिंदे के साथ मराठी भाषा की फिल्म ‘सत न गत ‘ के लिए पाखी, काफी के लिए सराही गईं ।साथ ही, इस फिल्म के लिए उन्हें सम्मानित भी किया गया। ‘गुलाबी’ के लिए भी पाखी चर्चा में रहीं। पंजाबी भाषा में ‘कुदेसन’ उनकी बेहतरीन फिल्म है। तराशी हुई हुश्न की महारानी, पाखी कहती हैं कि सर बस थोड़ा इंतजार कीजिये। वह आगे बेहद तरोताजा होकर, अपने अभिनय में सुर्खाब के पर लगाएंगी। वह अपने अभिनय को लगातार यादगार बनाएंगी और अपने अभिनय के बूते, दर्शकों के दिल में सदा के लिए जज्ब रहेंगी । हम भी पाखी की बड़ी कामयाबी के लिए ईश्वर से दुआ करते हैं। पूरी बातचीत के दौरान पाखी की शालीनता बरकरार रही और उसकी आत्मीयता बनी रही। उसकी मखमली आवाज में एक जादू और अल्हड़ मिठास थी, जिसके हम बेहद सिद्दत से मुरीद हुए ।
वरिष्ठ पत्रकार मुकेश कुमार सिंह